हर रोज की डीजल व पेट्रोल के मूल्य में वृद्धि अब उपभोक्ताओं पर भारी पड़ रही है। जोर का झटका अब धीरे-धीरे असहय दर्द बनता जा रहा है। सवा साल में डीजल व पेट्रोल के दाम में लगभग सवा गुनी वृद्धि हो गई है। इससे जहां किसानों को खेती महंगी साबित हो रही है, वहीं आम लोगों के घर का बजट बिगाड़ रही है।

केंद्र सरकार ने 16 जून 2017 से प्रतिदिन डीजल व पेट्रोल के दामों की समीक्षा कर दर निर्धारण की नीति तय की थी। इसके बाद प्रतिदिन पांच से लेकर 70 पैसे तक दाम में उतार-चढ़ाव होता रहा है। सिकंदरपुर निवासी अभिनय कुमार का कहना है कि सौ रुपये का तेल डलवाने पर लगभग सवा लीटर पेट्रोल मिलता था। लेकिन, अब ऐसा नहीं है। 69 रुपये से बढ़कर तेल 85.37 रुपये प्रति लीटर हो गया है। इससे जेब पर अतिरिक्त बोझ बढ़ गया है।

कैसे करें खेती

उद्यान रत्न किसान भोलानाथ झा का कहना है कि सरकार की प्रतिदिन दर समीक्षा की नीति खेती के लिए प्रकोप है। पूर्व में कभी दर में इतनी वृद्धि नहीं हुई थी। इससे अब खेती महंगी साबित हो रही है। सरैया के महेश्वर यादव ने कहा कि सवा साल पूर्व एक घंटे पटवन का 80 रुपये देते थे। अब 120 से 140 रुपये देना पड़ता है। खेती की लागत लगभग दोगुनी हो गई है। सवा साल में मूल्य वृद्धि तिथि डीजल पेट्रोल

16 जून 2017 58.32 – 68.73

01 जुलाई 2017 57.11 – 66.33

01 अगस्त 2017 59.48 – 70.14

01 सितंबर 2017 60. 97 -73.85

01 अक्टूबर 2017 – 62.87-75.39

01 नवंबर 2017 – 61.66-73.8

01 दिसंबर 2017 – 62.34-73.88

01 जनवरी 2018 – 63.66-74.63

01 फरवरी 2018 – 68.11-77.64

01 मार्च 2018 – 67.13 -77.19

01 अप्रैल 2018 – 69.38 – 79.46

01 मई 2018 – 70.76 – 80.35

01 जून 2018 – 74.13 – 84.02

01 जुलाई 2018 – 72. 48- 81.51

01 अगस्त 2018- 73.22- 82.51

01 सितंबर 2018 -76.43 – 85.37

Input: Jagran

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