पटना: बिहार में कानून व्यवस्था कायम रहे और किसी भी घटना स्थल पर पुलिस कम से कम समय में पहुंच जाए, इसको लेकर पटना के गांधी मैदान इलाके में श्रीकृष्णा मेमोरियल हॉल से सटे पुलिस कार्यालय परिसर में ‘डायल 100’ का कंट्रोल रूम बनाया गया है। बुधवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने डायल 100 सेवा की री लॉन्चिंग की थी। सरकार ने दावा किया है कि इस कंट्रोल रूम से बिहार में किसी भी घटना स्थल पर सूचना मिलने के बाद 20 मिनट में पुलिस सहायता के लिए पहुंच जाएगी।

यह कंट्रोल रूम अब पुलिस के लिए सिरदर्द बन गया है। यहां हर रोज साढ़े तीन लाख कॉल आ रहे हैं। इस सभी कॉल में सिर्फ 10 हजार ही जरूरी होते हैं। जानकारी के मुताबिक करीब पांच हजार कॉल किसी हादसे, मारपीट, पारिवारिक विवाद जैसे घटनाओं से लेकर शराब की सूचना देने संबंधित होते हैं। इनमें से कई जानकारियां गलत भी होती हैं। कुछ लोग तो पुलिस को गांव में बुलाने के लिए गलत जानकारी भी दे रहे हैं।

सबसे दिलचस्प बात यह है कि कुछ लोग तो सिर्फ यह टेस्ट करने के लिए फोन कर रहे हैं कि कॉल लगता है या नहीं। कॉल लगने पर बोलते हैं- डायल 100 का रिस्पांस चेक कर रहे थे। वहीं कुछ लोग 100 नंबर डायल कर कहते हैं- मोबाइल रिचार्ज करवा दीजिए। कई बार बच्चे ही बेवजह फोन करते हैं या झूठी जानकारी देते हैं और जब कहा जाता है कि किसी बड़े-व्यस्क को पोन दीजिए तो फोन काट देते हैं।

इन परिस्थितियों के बीच करीब 500 ऐसे कॉल होते हैं जो काफी जरूरी होते हैं और पुलिस समय से एक्शन भी लेती है। आपको बता दें कि डायल 100 के अत्याधुनिक कंट्रोल रूम में एक बार 150 इनकमिंग और 3 आउटगोइंग कॉल की व्यवस्था है। रात दिन काम करने वाले इस कंट्रोल रूम में एक शिफ्ट में प्रबारी समेत 60 पुलिसकर्मियों की तैनाती रहती है।

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